वैदिक ज्योतिष के अनुसार किस वजह से कुंडली में होता है पितृदोष
वैदिक ज्योतिष के अनुसार किस वजह से कुंडली में होता है पितृदोष…
कुंडली में पितृदोष होने की वजह से व्यक्ति हमेशा मानसिक परेशानियों से घिरा रहता है और घर में कभी पारिवारिक संतुलन नहीं बैठ पाता है।
जन्म कुंडली में दूसरे चौथे पांचवें सातवें नौवें दसवें भाव में सूर्य राहु या सूर्य शनि की युति स्थित हो (इक साथ) हो, तो यह पितृदोष माना जाता है। सूर्य यदि तुला राशि में स्थित होकर राहु या शनि के साथ युति करें तो अशुभ प्रभावों में और ज्यादा वृद्धि होती है। इन ग्रहों की युति जिस भाव में होगी उस भाव से संबंधित व्यक्ति को कष्ट और परेशानी अधिक होगी और हमेशा परेशानी बनी ही रहेगी। लग्नेश यदि छठे, आठवें, बारहवें, भाव में हो और लग्न में राहु हो तो भी पितृदोष बनता है।
पितृ दोष के कारण क्या क्या नुकसान देखने को मिलते हैं?
व्यक्ति को मानसिक परेशानी हमेशा लगी रहती है और पारिवारिक संतुलन नहीं बन पाता है
जीवन में बहुत ज्यादा पैसा कमाने के बाद भी घर में बरकत नहीं हो पाती है
खुद निर्णय लेने में बहुत परेशानी होती है और लोगों की सलाह अधिक लेनी पड़ती है
यदि आप सरकारी या प्राइवेट नौकरी में है तो अपने उच्च अधिकारियों कि नाराजगी झेलनी पड़ती है
वंश वृद्धि नही हो पाती है संतान प्राप्ति में बहुत ज्यादा बाधाएं आती हैं
बिना जन्मकुंडली के पितृदोष के लक्षण कैसे पहचानें?
सुबह के समय उठने के बाद परिवार में अचानक कलह क्लेश होता है
विवाह की बात अक्सर बनते बनते बिगड़ जाती है
आपको बार-बार यदि आपको चोट लगती है और दुर्घटनाओं के शिकार होते हैं
घर मे मांगलिक कामों में विघ्न आता ही रहता है
अक्सर घर की दीवारों में दरारें भी आती है
परिवार में या घर मे मेहमान आना बंद हो जाते है
दाम्पत्य जीवन के क्लेश के कारण जीवन के मुश्किलें आ जाती है
कैसे करें पितृदोष का महाउपाय
पितृदोष को खत्म करने के लिए हर अमावस्या पर अपने पूर्वजों और पितरों के नाम से जितना हो सके लोगों को दवाईया और वस्त्र और भोजन का दान करें।
हर बृहस्पतिवार और शनिवार की शाम पीपल की जड़ में जल अर्पण करें और उसकी सात परिक्रमा करें।
शुक्लपक्ष के रविवार के दिन सुबह के समय सूर्यनारायण भगवान को तांबे के लोटे में जल गुड़ लाल फूल रोली आदि डालकर अर्पण करना शुरू करें।
माता पिता और उनके समान बुजुर्ग व्यक्तियों से आशीर्वाद लेते रहे।
अगर आप अपनी जन्मकुंडली दिखाना चाहते है, तो इस नंबर पर अपना नाम, जन्मस्थान, तिथि, समय भेज दे।
Jyoti kaushal
Astrologer
88378 46039