इंग्लैंड महिला क्रिकेट टीम की तेज गेंदबाज फ्रेया डेविस ने 29 साल की उम्र में पेशेवर क्रिकेट को अलविदा कह दिया।
इंग्लैंड महिला क्रिकेट टीम की तेज गेंदबाज फ्रेया डेविस ने 29 साल की उम्र में पेशेवर क्रिकेट को अलविदा कह दिया। आपको बता दें कि लगभग 15 साल के सफल क्रिकेट करियर के बाद उन्होंने अपने जीवन का नया अध्याय शुरू करने का निर्णय लिया है। डेविस ने वकील बनने के लिए यह कदम उठाया है और अब वह बतौर ट्रेनी सॉलिसिटर अपनी नई यात्रा शुरू करेंगी।
जानें अंतरराष्ट्रीय करियर
डेविस ने मार्च 2019 में श्रीलंका के खिलाफ कोलंबो में टी20 अंतरराष्ट्रीय मैच से इंग्लैंड के लिए डेब्यू किया था। उन्होंने 2019 से 2023 के बीच इंग्लैंड के लिए कुल 35 अंतरराष्ट्रीय मैच (वनडे और टी20आई) खेले और 33 विकेट चटकाए। इसमें एक बार चार विकेट लेने का शानदार कारनामा भी शामिल है। उनका आख़िरी अंतरराष्ट्रीय मैच 2023 में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ एजबेस्टन (बर्मिंघम) में हुआ था। इंग्लैंड क्रिकेट बोर्ड ने उनके संन्यास पर शुभकामनाएं देते हुए कहा, “फ्रेया डेविस को ढेरों शुभकामनाएं, जिन्होंने इंग्लैंड के लिए 35 मैच खेले और अब सॉलिसिटर बनने के नए सफर की ओर बढ़ रही हैं।”
घरेलू क्रिकेट में लंबा सफर
फ्रेया डेविस का घरेलू क्रिकेट करियर भी बेहद शानदार रहा। बता दें कि उन्होंने सिर्फ 14 साल की उम्र में ससेक्स से क्रिकेट की शुरुआत की। इसके बाद उन्होंने वेस्टर्न स्टॉर्म, साउथ ईस्ट स्टार्स, लंदन स्पिरिट, वेल्श फायर, सदर्न वाइपर्स और हैम्पशायर जैसी टीमों का प्रतिनिधित्व किया। 2013 में ससेक्स को काउंटी चैंपियनशिप जिताने में उनकी महत्वपूर्ण भूमिका रही। घरेलू काउंटी के लिए उन्होंने कुल 86 मैच खेले। 2019 में डेविस ने विमेंस क्रिकेट सुपर लीग में 19 विकेट लेकर सर्वश्रेष्ठ गेंदबाज़ का खिताब हासिल किया। इसके अलावा विमेंस हंड्रेड में उन्होंने लंदन स्पिरिट और वेल्श फायर के लिए कुल 37 मैचों में 36 विकेट लिए।
उनका आख़िरी घरेलू मैच 21 सितंबर 2025 को रोज़ बाउल में हैम्पशायर की ओर से लंकाशायर के खिलाफ वन-डे कप फाइनल था। इस टूर्नामेंट में हैम्पशायर रनर-अप रही, लेकिन डेविस ने 14 मैचों में 19 विकेट झटककर शानदार प्रदर्शन किया। सेमीफाइनल में सरे के खिलाफ उन्होंने 9.5 ओवर में 39 रन देकर 4 विकेट लिए।
क्रिकेट के बाद पकड़ी नई राह
क्रिकेट खेलने के दौरान ही डेविस पढ़ाई में सक्रिय रहीं। उन्होंने लीगल प्रैक्टिस कोर्स (LPC) और एलएलएम की पढ़ाई पूरी की। संन्यास की घोषणा करते हुए उन्होंने कहा कि वह अपने क्रिकेट सफर को मजबूत नोट पर समाप्त कर अब वकालत के पेशे में आगे बढ़ने को लेकर बेहद उत्साहित हैं।