अब Traffic नियम तोड़ने पर चालान की राशि जमा करने के लिए लोगों को कई दफ्तरों के चक्कर नहीं लगाने पड़ेंगे।
अब Traffic Rules तोड़ने पर चालान की राशि जमा करने के लिए लोगों को कई दफ्तरों के चक्कर नहीं लगाने पड़ेंगे। जिला प्रशासन ने जनता की सुविधा को ध्यान में रखते हुए चालान अप्रूवल और भुगतान की पूरी प्रक्रिया को एक ही स्थान पर केंद्रीकृत कर दिया है। इस व्यवस्था के लागू होने से लोगों को ट्रैफिक थाना, ड्राइविंग ट्रैक और आरटीओ के बीच बार-बार चक्कर काटने से बड़ी राहत मिलेगी। अब तक किसी भी वाहन चालक को चालान कटने के बाद बड़ी जटिल प्रक्रि या से गुजरना पड़ता था। सबसे पहले उन्हें पुलिस लाइन स्थित ट्रैफिक थाने जाना होता था, जहां चालान की एंट्री एआरटीओ की आईडी में ट्रांसफर की जाती थी। इसके बाद आवेदक को बस स्टैंड के पास स्थित ड्राइविंग ट्रैक पर पहुंचकर एआरटीओ से अप्रूवल लेना पड़ता था।
अंतिम चरण में, जिला प्रशासकीय परिसर में स्थित आरटीओ की खिड़की नंबर 9 पर चालान का भुगतान कर दस्तावेज प्राप्त किए जाते थे। इस बहु-स्तरीय प्रक्रि या के चलते लोगों को अक्सर घंटों तक इंतजार और असुविधा ङोलनी पड़ती थी। कई बार Traffic थाना, एआरटीओ या आरटीओ कार्यालयों में सर्वर डाऊन होने पर पूरा दिन बर्बाद हो जाता था। वहीं, अगर संबंधित एआरटीओ अवकाश पर होते तो चालान अप्रूवल की प्रक्रि या ठप्प पड़ जाती थी, जिससे लोगों को अगले दिन दोबारा आना पड़ता था।
लेकिन अब यह परेशानी खत्म हो गई है। RTO में ही ATO की स्थायी तैनाती कर दी गई है और आरटीओ के कैबिन के साथ विशेष खिड़की भी खोली गई है। यहां एटीओ रोजाना ट्रैफिक थाना से ट्रांसफर होकर उनकी आईडी में आए चालानों को तत्काल अप्रूव करते हैं। इसके बाद कार्यालय के पिछले हिस्से में स्थित खिड़की नंबर 9 पर आवेदक चालान की राशि जमा कर तुरंत अपने दस्तावेज प्राप्त कर सकते हैं। नई व्यवस्था ने न केवल नागरिकों को सुविधा प्रदान की है बल्किविभागीय कार्यप्रणाली को भी सुचारू बनाया है। एटीओ विशाल गोयल के अनुसार, ‘‘आरटीओ में शुरू की गई इस नई व्यवस्था से अब रोजाना 110 से 130 तक लोग एक ही छत के नीचे चालान की अप्रूवल और भुगतान दोनों कार्य पूरे कर रहे हैं।
इससे जहां जनता के समय और मेहनत की बचत हो रही है, वहीं विभाग में लंबित फाइलों की संख्या भी घट रही है।’’ RTO Jalandhar द्वारा शुरू की गई यह पहल Traffic प्रबंधन और नागरिक सेवा सुधार की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम मानी जा रही है। इससे न केवल चालान प्रक्रि या में पारदर्शिता बढ़ी है बल्किनागरिकों के लिए समयबद्ध और सरल समाधान भी सुनिश्चित हुआ है जिसके बाद यह कहना गलत नहीं होगा कि अब चालान की अप्रूवल से लेकर अदायगी तक की सारी प्रक्रि या एक ही दफ्तर में पूरी होगी, जिससे ‘चक्कर’ नहीं, सिर्फ ‘सुविधा’ मिलेगी।