पंजाब के सीमावर्ती जिले फाजिल्का में भारत-पाकिस्तान सीमा की सुरक्षा को अजेय बनाने के लिए फाजिल्का जिला पुलिस ने अभूतपूर्व कदम उठाए हैं।
पंजाब के सीमावर्ती जिले फाजिल्का में भारत-पाकिस्तान सीमा की सुरक्षा को अजेय बनाने के लिए फाजिल्का जिला पुलिस ने अभूतपूर्व कदम उठाए हैं। वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक (एसएसपी) गुरमीत सिंह, पीपीएस, की प्रेरणादायक और दृढ़निश्चयी अगुवाई में सीसीटीवी (CCTV) कैमरों की व्यापक तैनाती, ड्रोन आधारित निगरानी और बीएसएफ के साथ संयुक्त गश्त को मजबूत किया गया है। ये उपाय विशेष रूप से सीमा पार हथियारों और अवैध सामग्री की तस्करी को रोकने के लिए डिज़ाइन किए गए हैं। फसल कटाई के व्यस्त सीजन और आगामी दिवाली जैसे त्योहारों के बीच ये इंतजाम न केवल किसानों की सुरक्षा सुनिश्चित कर रहे हैं, बल्कि संवेदनशील सीमावर्ती क्षेत्रों में किसी भी संदिग्ध गतिविधि पर त्विरत कार्रवाई की गारंटी दे रहे हैं।
एसएसपी गुरमीत सिंह ने कहा, हमारा लक्ष्य फाजिल्का को अपराधमुक्त और सुरिक्षत बनाना है। सीसीटीवी और ड्रोन जैसी तकनीकों के साथ हम हर खतरे को पहले ही भांप लेते हैं, ताकि तस्करी की हर कोशिश नाकाम हो। उनकी दूरदर्शी नेतृत्व शैली और सामुदायिक जुड़ाव ने फाजिल्का पुलिस को एक नई पहचान दी है। फाजिल्का जिला, जो 120 किलोमीटर लंबी भारत-पाकिस्तान सीमा से सटा है, हमेशा से सुरक्षा की दृष्टि से संवेदनशील रहा है। इसकी समतल भूमि, निदयां और घने खेत तस्करों के लिए अवसर प्रदान करते हैं। फसल कटाई के दौरान खेतों में फसल के ढेर और किसानों की व्यस्तता से तस्करी की आशंकाएं बढ़ जाती हैं।
ऐसे में एसएसपी गुरमीत सिंह ने बॉर्डर सिक्योरिटी फोर्स (बीएसएफ) के साथ मिलकर एक अटूट सुरक्षा ढाल तैयार की है। इस ढाल का आधार सीसीटीवी नेटवर्क है, जो फाजिल्का के गट्टी नंबर 2, अबोहर और अजनाला जैसे संवेदनशील गांवों में स्थापित किया गया है। ये उच्च रजिॉल्यूशन वाले कैमरे रात में भी स्पष्ट चित्र कैप्चर करते हैं और कंट्रोल रूम को रीयल-टाइम डेटा भेजते हैं। एसएसपी सिंह ने इन कैमरों की तैनाती को व्यक्तिगत रूप से मॉनिटर किया और सुनिश्चित किया कि हर रणनीतिक बिंदु पर निगरानी हो। उनकी यह सक्रियता स्थानीय लोगों में विश्वास जगाने में कामयाब रही है। ड्रोन निगरानी ने फाजिल्का की सुरक्षा को और सशक्त किया है। एसएसपी गुरमीत सिंह के नेतृत्व में फाजिल्का पुलिस ने बीएसएफ के साथ मिलकर थर्मल इमेजिंग और नाइट विजन से लैस ड्रोन की तैनाती बढ़ाई है। ये ड्रोन सीमा पर 2437 उड़ान भरते हैं, खासकर रात और धुंध में, जब पारंपरिक गश्त मुश्किल होती है।
जनवरी 2025 में फाजिल्का और अमृतसर में बीएसएफ द्वारा संदिग्ध ड्रोनों की बरामदगी के बाद, एसएसपी सिंह ने एंटी-ड्रोन तकनीक को अपग्रेड करने के लिए विशेष निर्देश दिए। अब ड्रोन तस्करी रूट्स, संदिग्ध वाहनों और व्यक्तियों पर लाइव नजर रखते हैं। सिंह के निर्देश पर ड्रोन सॉर्टी की संख्या हर हμते बढ़ाई जा रही है, जिससे सीमा के 10 किलोमीटर गहरे क्षेत्रों तक निगरानी हो रही है। हथियार तस्करी को रोकने के लिए फाजिल्का पुलिस के इंतजामों में तकनीक और मानवीय संसाधनों का बेहतरीन समन्वय है। जिले में 50 से अधिक नाके लगाए गए हैं, जहां वाहनों की सघन जांच हो रही है। राष्ट्रीय राजमार्ग-5 और ग्रामीण सड़कों पर रेड अलर्ट नाके सीसीटीवी से जुड़े हैं।
नाइट डोमिनेशन प्रोग्राम के तहत रात्रि 10 बजे से सुबह 5 बजे तक पैदल और वाहन गश्त को मजबूत किया गया है। जिले के 362 गांवों में 100 से अधिक गश्त टीमें बीएसएफ के साथ समन्वय में काम कर रही हैं। स्थानीय किसान हरजिंदर सिंह ने कहा, एसएसपी साहब का गांवों में आना और हमसे सीधा संवाद करना हमें सुरक्षा का भरोसा देता है। एसएसपी गुरमीत सिंह की अगुवाई में फाजिल्का पुलिस ने इंटेलिजेंस आधारित अभियान चलाए हैं, जो हथियार तस्करी के खिलाफ प्रभावी सिद्ध हुए हैं। सितंबर 2025 से शुरू इन अभियानों में पाइपलाइन रूट्स पर विशेष नजर रखी जा रही है। बीएसएफ के साथ मिलकर थर्मल स्कैनर और ग्राउंड सेंसर लगाए गए हैं, जो सीमा पार की गतिविधियों को डिटेक्ट करते हैं। जिले के थानों में विशेष कंट्रोल रूम स्थापित हैं, जहां सीसीटीवी और ड्रोन फीड एकित्रत होती है और स्पेशल टास्क फोर्स (एसटीएफ) को तुरंत अलर्ट भेजे जाते हैं।
एसएसपी गुरमीत सिंह का नेतृत्व फाजिल्का पुलिस के लिए प्रेरणा का स्रोत है। मई 2025 में फाजिल्का के एसएसपी बनने के बाद उन्होंने सुरक्षा को नई दिशा दी। वे नियमति रूप से मैदान में उतरते हैं और पुलिसकर्मियों को प्रोत्साहित करते हैं। हाल ही में रेडिएंट स्कूल में उन्होंने छात्रों को संबोधित किया और कहा, सुरक्षा हमारी साझा जिम्मेदारी है। त्योहारों के सीजन में ये इंतजाम और सख्त किए गए हैं। दिवाली से पहले बाजारों और धार्मिक स्थलों पर गश्त बढ़ाई गई है। कुल मिलाकर, एसएसपी गुरमीत सिंह का नेतृत्व न केवल हथियार तस्करी रोकने में मील का पत्थर साबित हुआ है, बल्किफाजिल्का को एक सुरिक्षत और समृद्ध जिला बनाने की दिशा में प्रेरणा दे रहा है।