LUDHIANA BY ELECTION तय करेगा इन बड़े नेताओं का कद, पढ़ें INSIDE STORY
PUNJAB NEWS – चुनाव आयोग (ELECTION COMMISSION) ने अभी तक लुधियाना उप चुनाव (LUDHIANA BY ELECTIONS) को लेकर तारीख़ तय नहीं की है। मगर यह स्पष्ट है कि 10 जुलाई से पहले यह चुनाव संभावित है। आम आदमी पार्टी (AAM AADMI PARTY) ने सबसे पहले अपना उम्मीदवार (CANDIDATE) मैदान में उतार दिया है। पार्टी के लुधियाना से राज्य सभा मेंबर संजीव अरोड़ा (MP SANJEEV ARORA) को टिकट दी गयी है। आम आदमी पार्टी की त्वरित कार्रवाई के बाद पंजाब में एक तरह से चुनावी बिगुल बज गया है।
इस बिगुल के साथ ही सारे सियासी दल सक्रिय हो गए हैं। लुधियाना शहर (LUDHIANA CITY) पंजाब की सियासत में सरगर्म रहा है। लोक सभा चुनावों (LOK SABHA ELECTIONS) में कांग्रेस के प्रदेश प्रधान राजा वड़िंग (RAJA WARRING) का भाजपा के रवनीत बिट्टू (RAVNEET BITTU) से मुकाबला इसका उदहारण है। कांग्रेस ने जहाँ यह सीट जीत कर अपना दबदबा कायम किया। वहीँ भाजपा ने अपने हारे हुए उम्मीदवार को मोदी की टीम (MODI CABINET) में शामिल कर लुधियाना के वोटरों को लुभाने की कोशिश की। अब जहाँ यह चुनाव होने जा रहे हैं यानी कि लुधियाना वेस्ट (LUDHIANA WEST) वहां पर भाजपा और कांग्रेस दोनों अपनी दावेदारी पेश कर रहे हैं। कांग्रेस जहाँ लुधियाना लोक सभा सीट को अपना बता रही है। वहीँ भाजपा का कहना है कि लोक सभा चुनावों में उसने इस विधान सभा क्षेत्र से 22 हज़ार वोटें हासिल की है।
आम आदमी पार्टी को लेकर यह धारणा है कि सत्ताधारी पार्टी ही एक बार फिर उप चुनाव में बाज़ी मारेगी। लेकिन अगर विरोधियों की बात करे तो हर कोई झाड़ू को ललकार रहा है। ऐसे में आम आदमी पार्टी के नवनियुक्त प्रदेश अध्यक्ष अमन अरोड़ा (AMAN ARORA) के लिए यह चुनाव एक इम्तिहान साबित होने जा रहे हैं।
कांग्रेस की बात करें तो यहाँ से पार्टी के सांसद व् अध्यक्ष अमरिंदर सिंह राजा वड़िंग (AMARINDER SINGH RAJA WARRING) की स्तिथि भी कुछ खास मज़बूत नहीं है। चर्चा है कि कांग्रेस हाईकमान जल्द ही पंजाब में नया नेता लगाने जा रही है। ऐसी स्तिथि में वड़िंग की इस चुनाव में अप्रोच देखने लायक होगी। प्रताप बाजवा (PARTAP SINGH BAJWA) समेत स्थानीय नेता आशु (BHARAT BHUSHAN ASHU) इस चुनाव के ज़रिये पार्टी में अपना कद स्थापित करने की कोशिश कर सकते हैं। अकाली दल (AKALI DAL) अपने स्तर पर जीत की दावेदारी कर रहा है।
तीसरा मुख्या बिंदु है भाजपा के राज्य मंत्री रवनीत सिंह बिट्टू (RAVNEET SINGH BITTU)। मोदी लहर के बावजूद बिट्टू अपनी गढ़ सीट से हार गए। पार्टी ने फिर भी उन्हें नवाज़ते हुए राज्य मंत्री बनाया। लुधियाना वेस्ट का उप चुनाव रवनीत बिट्टू के लिए भी अहम् होने जा रहा है। बिट्टू को इस चुनाव में पार्टी को जीत दिला कर अपनी मज़बूत स्तिथि स्पष्ट करनी होगी। लुधियाना वेस्ट सीट में हिन्दू वोटर की संख्या अधिक है। बिट्टू की कोशिश रहेगी कि चुनाव के इस छोटे कुंभ में जीत की डुबकी लगायी जाए। अगर ऐसा नहीं होता है तो पंजाब में बिट्टू की सियासत ख़तरे में पद सकती है। क्यूंकि वह भी पंजाब का मुख्यमंत्री बनने की इच्छा जता चुके है।
सो कुल मिला कर लुधियाना का उप चुनाव सभी प्रदेश प्रधानों के लिए महत्वपूर्ण रहने वाला है।